कैसे निज सोये भाग को कोई सकता है जगा, जो निज भाषा-अनुराग का अंकुर नहिं उर में उगा। - हरिऔध।

 
रोचक
इस श्रेणी में आप रोचक सामग्री पाएंगे जिसमें सम्मिलित है पठनीय सामग्री, रोचक विडियो व ऑडियो इत्यादि।

Articles Under this Category

चंद्रधर शर्मा 'गुलेरी' के बारे में क्या आप जानते हैं? - रोहित कुमार 'हैप्पी'

7 जुलाई को हिंदी साहित्य को 'उसने कहा था' जैसी कालजयी कहानी देने वाले पं. श्रीचंद्रधर शर्मा 'गुलेरी' की जयंती है। गुलेरी की केवल तीन कहानियाँ ही प्रसिद्ध है जिनमें 'उसने कहा था' के अतिरिक्त 'सुखमय जीवन' व 'बुद्धू का कांटा' सम्मिलित हैं। गुलेरी के निबंध भी प्रसिद्ध हैं लेकिन गुलेरी ने कई लघु-कथाएं और कविताएं भी लिखी हैं जिससे अधिकतर पाठक अनभिज्ञ हैं। पिछले कुछ दशकों में गुलेरी का अधिकतर साहित्य प्रकाश में आ चुका है लेकिन यह कहना गलत न होगा कि अभी भी उनकी बहुत सी रचनाएं अप्राप्य हैं। यहाँ गुलेरी जी के पौत्र डॉ विद्याधर गुलेरी, गुलेरी के एक अन्य संबंधी डॉ पीयूष गुलेरी व डॉ मनोहरलाल के शोध व अथक प्रयासों से शेष अधिकांश गुलेरी-साहित्य हमारे सामने है।
...

मुंशी प्रेमचंद का घटनाक्रम - रोहित कुमार 'हैप्पी'

मूल नाम : धनपत राय
घर का नाम: नवाब राय
जन्म : 31 जुलाई 1880,
जन्म स्थल: लमही, वाराणसी (उत्तर प्रदेश)
पिता का नाम: मुंशी अजायब लाल
माता का नाम: श्रीमती आनंदी देवी
बहन: सुग्गी देवी (दो बहने और भी हुईं लेकिन जीवित न बची)
...

मिलिए नेहा और अंकुर से  - रोहित कुमार 'हैप्पी'


...

सब्स्क्रिप्शन

इस अंक में

 

इस अंक की समग्र सामग्री पढ़ें

 

 

सम्पर्क करें

आपका नाम
ई-मेल
संदेश